Contest| Throwback Moment: Share a Memorable Childhood Story

in hive-179660 •  7 days ago 

नमस्ते मेरे स्टीमियन और मेरे हिन्द व्हेल समुदाय के दोस्तो,

यह प्रतियोगिता में मेरी भागीदारी है” थ्रोबैक मोमेंट: एक यादगार बचपन की कहानी साझा करें @deepak94 द्वारा Hindwhale समुदाय में

ये कहानी उस समय की हे जब में मात्र ११-१२ साल का रहा होऊंगा, इससे पहले की में ये आपको कहानी बताऊँ मुझे अपनी एक विशेषता बतानी हे, मेरी अब वर्तमान में ऊंचाई १८५ सेंटीमीटर हे , और जब में बहुत छोटा था तब भी मेरी ऊंचाई सब बच्चों से बहुत ज्यादा थी।

और इसी ऊंचाई की वजह से मेरे बचपन के तमाम बच्चे साथी मुझे ऊंचाई के कारण उकसा कर मेरा बेफकूफ बना लेते थे और में भी आसानी से उनकी बातों में आ जाता था। क्योंकि तब मुझे लगता था की शायद ये मेरे दोस्त मेरी प्रशंसा कर रहे हैं। लेकिन वो सब बच्चे अपना काम निकलवाने के लिए ऐसा करते थे.

खैर अब देर न करते हुए में वो अजीब सी घटना आपको सुनाता हूँ , हुआ ये की हमारा घर एक बहुत सुन्दर फलों के बाग़ के पास बना हुआ था , और उस बाग़ में बहुत से फलों के पेड़ थे , लेकिन हमें उन बागों में जाने और फलों को तोड़ने की बिलकुल भी इजाजत अनहि थी।

वैसे भी वहां एक खतरनाक मोटा सा आदमी वहां का माली था, जिसके बारे में सब कहते थे ये एक राक्षस हे, जिसके भय से किसी भी बच्चे की हिम्मत नहि होती थे की वो बाग़ में घुस जाये या बाग़ की तरफ देख भी ले.

एक दिन हम सभी बच्चों ने देखा की वो माली दिन के समय में ही खाट बिछा कर बाग़ के दुसरे कोने में सो रहा था , हम सबको लगा आज अच्छा मौका हे कुछ करने का। एक अमरुद का पेड़ सबसे किनारे लगा था , और उसमे कुछ अधपके अमरुद भी लगे हुए थे।

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स्रोत

हम बच्चे वही पास में अपनी बचपन की क्रिकेट खेलते थे. मेरे दोस्तों ने मुझे उकसाया और कहा तू लम्बा हे जल्दी से चढ़ जा पेड़ पर और थोड़े से अमरुद तोड़ कर हमारी तरफ फेंक दे किसी को भी पता नहीं चलेगा , माली भी आज मस्त सो रहा हे. मुझे खुद अमरुद खाने का लालच आरहा था इसलिए में उनके झांसे में आ गया। और इधर उधर देख कर जल्दी से पेड़ पर चढ़ गया , और जल्दी से करीब ८-१० अमरुद तोड़कर बच्चो की तरफ फेंक दिए।

लेकिन ये क्या हुआ तभी माली जाग गया और , उसी तरफ आ गया , उसके वह आते ही सरे बच्चे अमरुद लेकर भाग गए। लेकिन में पेड़ पर चढ़ा रह गया। माली ने मुझे पेड़ पर चढ़ा हुआ देखा तो गुस्से से चिल्लाया। में समझ गया आज मेरी खैर नहीं हे.

ये मझे जरूर पीटेगा और मेरी शिकायत मेरे पिता से करेगा , और मुझे इस माली की पिटाई का डर नहीं था बल्कि मेरे पिता को पता चलने का ज्यादा डर था क्योंकि वो बहुत ज्याद सख्त थे, शायद उनको पता चलेगा तो वो मेरा खेलना भी बंद कर देंगे.

यह सोचकर मैंने पेड़ से कूद गया और जमीन पर गिरकर बेहोश होने का नाटक करने लगा , वैसे मुझे पीठ में चोट भी लगी थी और दर्द भी हो रहा था , लेकिन मुझे माली ने गोदी में उठाया और मुझे अपनी खाट पर लिटा दिया फिर मेरे ऊपर पानी के छींटे मारे मैंने भी कुछ देर में कुनमुनाते हुए आँखें खोली और खाट से उठा और माली से हाथ जोड़कर माफ़ी मांगी की अब दोबारा कभी पेड़ पर नहीं चढूँगा।

माली जो कल तक हमें शैतान लगता था उसने मुझे अपने पास से कुछ फल दिए और मुझसे बोलै " मेरे बच्चे तुमको अगर कुछ हो जाता तो तुम्हारे माता पिता पर क्या गुजरती, जाओ भागो यहाँ से अब दोबारा ये गलती नहीं करना।

इस घटना के बाद मैंने ये गलतिया नहीं की, लेकिन उस माली के प्रति मेरे विचार भी बदल गए, उसमे भी बहुत इंसानियत थी.

[दुर्भाग्य से मेरे सभी एल्बम मेरे घर में एक बाढ़ आने से ख़राब हो गए थे इसलिए मेरे पास मेरे बचपन का एक भी फोटो शेष नहीं हे. ]

मैं यहाँ अपने बचपन की कहानियाँ साझा करने के लिए@patjewell, @paholags, @senehasa @suryati1 को भी आमंत्रित करना चाहता हूँ।

मेरी बचपन की यादें पढ़ने के लिए धन्यवाद, मैं सभी स्टीमियन की प्रगति और सुखद भविष्य के लिए ईश्वर से प्रार्थना करता हूँ।

बहुत प्यार और सम्मान के साथ,

सुर-रीति❤️

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Terimakasih teman sudah mengundang saya di kontes yang luar biasa ini, seperti sangat menarik untuk di ikuti, tunggu saja saya akan segera datang

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Congratulations!!! because your post has been upvoted by Team 7 using steemcurator09. Keep up the good work and keep making quality posts. Curated By <@lhorgic>

Thanks I am appreciated.

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