लोगों को लाखों-करोड़ के सपने दिखाकर #बिटकॉइन के जरिए 2 हजार करोड़ का घोटाला करने वाले अमित भारद्वाज को पुणे पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। अमित के साथ ही उसके भाई विवेक को भी दिल्ली एयरपोर्ट से गिरफ्तार किया गया है। दोनों बैंकॉक से दिल्ली वापस आए थे।
अमित ने खुद की एक कंपनी जीबी (गेन बिटकॉइन) माइनिंग शुरू की थी। उस पर हजारों लोगों के साथ धोखाधड़ी करने का आरोप है। इससे पहले पुणे पुलिस ने उससे जुड़े 7 लोगों को गिरफ्तार किया था। इनसे पता चला कि वह बैंकॉक में है।
ईडी ने उसके खिलाफ लुकआउट नोटिस भी जारी किया था। अमित भारद्वाज ने पूरा फर्जीवाड़ा गेनबिटकॉइन वेबसाइट के जरिए किया। इन दोनों ने 5 अन्य लोगों के साथ मिलकर कई कंपनियां शुरू कीं। इनका मकसद था मार्केट में आए क्रिप्टोकरंसी के कॉन्सेप्ट के जरिए पैसे बनाना। अमित और विवेक भारद्वाज दोनों खुद को इनोवेटर के तौर पर आगे रखते थे।
इन्होंने हजारों लोगों को तगड़े रिटर्न का लालच देकर उनसे अपनी कंपनी में इन्वेस्ट करवाया। इनके धंधे का नियम बिल्कुल साफ था। ये बिटकॉइन को आगे रखकर पहले लोगों को भरोसा दिलाते कि इसमें मोटा रिटर्न है और बाद में उनके सामने कई तरह की मार्केटिंग स्कीम्स रखते। जो लोग पूरी तरह आश्वस्त हो जाते वे खुद तो निवेश करते ही, बाकी लोगों को भी कहते।
ऐसा इसलिए क्योंकि इन्होंने ऑफर दिया था कि जो भी निवेशक नए लोगों को जोड़ेगा, उसे इन्सेन्टिव भी मिलेगा। अमित ने दिल्ली स्थित केंद्रीय विद्यालय से अपनी स्कूली पढ़ाई की और बाद में नांदेड़ स्थित एमजीएम इंजिनियरिंग कॉलेज से बी.टेक पूरा किया।
साल 2013 में अमित ने हाईकार्ट डॉट कॉम वेबसाइट शुरू की। वेबसाइट शुरू होने के बाद इन्होंने दावा किया कि यह पहली ऐसी ऑनलाइन रिटेलर कंपनी है, जो बिटकॉइन भी स्वीकार करती है।
इस वेबसाइट पर इलेक्ट्रॉनिक्स, मेन्स फैशन, फिटनेस गियर और घर का सामान मिल जाता था। मार्च 2016 में उसने हॉन्गकॉन्ग में अमेज माइनिंग ऐंड ब्लॉकचेन रिसर्च लिमिटेड शुरू की।
कंपनी ने दावा किया कि उसके पास दुनिया का 5 प्रतिशत बिटकॉइन है। उसी साल इन्होंने जीबी माइनर्स शुरू की, जिसको लेकर दावा किया गया कि यह भारत की सबसे बड़ी माइनिंग पूल और विश्व की तेजी से बढ़ने वाली माइनिंग पूल है। इससे पहले महाराष्ट्र सरकार ने कहा था कि गेनबिटकॉइन वेबसाइट के जरिए चलाई गई बिटकॉइन पॉन्जी स्कीम की जांच होगी।
गृह राज्य मंत्री रंजीत पाटिल ने बयान दिया था कि इस मामले में गेनबिटकॉइन वेबसाइट के फाउंडर अमित भारद्वाज के खिलाफ लुकआउट नोटिस जारी कर दिया गया है। उन्होंने कहा था कि इस घोटाले से जुड़ा एक केस नांदेड़ के पुलिस स्टेशन में 24 जनवरी 2018 को फाइल किया गया है। वहीं गुजरात में 5,000 करोड़ रुपये से ज्यादा के ‘बिटक्वाइन घोटाले’ का मामला सामने आया है।
बताया जा रहा है कि इस घोटाले में भाजपा के कुछ नेताओं भी शामिल हैं। मामले की सर्वोच्च न्यायालय की निगरानी में न्यायिक जांच की मांग की जा रही है। कांग्रेस प्रवक्ता शशिकांत गोहिल ने यहां पत्रकारों से कहा, यह बहुस्तरीय घोटला था और गुजरात सीआईडी इसे 5,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का घोटाला बता रही है, जबकि कुछ न्यूज रिपोर्ट और स्वतंत्र ब्लॉग ने इस घोटाले को लगभग 88,000 करोड़ का बताया है।
गोहिल ने कहा, अवैध क्रिप्टोकरेंसी के इस बड़े घोटाले में संदेह सीधे भारतीय जनता पार्टी के बड़े नेताओं और एक मास्टरमाइंड की ओर इशारा कर रहे हैं, जोकि भाजपा का एक भगोड़ा नेता और पूर्व विधायक नलिन कोटादिया है।#MGSC#
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